Tuesday, 28 February 2023

रेशम और खादी वस्त्रों की नवीन डिजाइन आएगी बाजार में

 तीन आधुनिक डिजाइनर से किया एमओयू

मध्यप्रदेश में बने हथकरघा और रेशम के वस्त्र शीघ्र ही आधुनिक डिजाइन में बाजार उपलब्ध होंगे। इसके लिए रेशम संचालनालय और संत रविदास हस्त शिल्प और हथकरघा विकास निगम ने ख्याति मान तीन प्रमुख डिजाइनरों श्रीमती साधना व्यास, श्रीमती फरहत मलिक और सुश्री आयुषी अग्रवाल के साथ समझौता किया है। एमओयू पर प्रमुख सचिव श्री मनु श्रीवास्तव की उपस्थिति में आयुक्त रेशम उत्पाद श्री मदन नागरगोजे, आयुक्त एवं एमडी हस्तशिल्प विकास निगम श्रीमती अनुभा श्रीवास्तव ने हस्ताक्षर किए।

प्रमुख सचिव श्री मनु श्रीवास्तव ने कहा कि यह डिजाइनर हमारे सभी ग्राहकों के लिए हमारे स्वदेशी हाथकरघे और रेशमी कपड़ों का उपयोग करके अद्वितीय आधुनिक और पारंपरिक परिधानों का डिजाइन निर्माण करेंगे। ये कलेक्शंस मृगनयनी और प्राकृत के कई स्टोर्स पर लॉन्च किए जाएंगे। इससे प्रदेश के उत्पादों को आधुनिक बाजार में नई पहचान मिलेगी।

बुन्देलखण्ड की कला-संस्कृति का समागम है गढ़ाकोटा रहस लोकोत्सव : लोक निर्माण मंत्री श्री भार्गव

 2 मार्च को होगा रहस लोकोत्सव का शुभारंभ

लोक निर्माण मंत्री श्री गोपाल भार्गव ने कहा है कि गढ़ाकोटा रहस लोकोत्सव बुन्देलखण्ड कला-संस्कृति का समागम है। महाराजा मर्दन सिंह जू-देव के 218वें राज्यारोहण स्मृति में प्रतिवर्ष की भांति इस वर्ष भी 2 से 5 मार्च तक सागर जिले में गढ़कोटा तहसील मुख्यालय पर किया जाएगा।

मंत्री श्री भार्गव ने कहा कि रहस लोकोत्सव सामाजिक समरसता, प्रेम, सौहार्द के साथ बुंदेली सांस्कृतिक विधाओं के संरक्षण और संवर्धन का उत्सव भी है। तीन दिवसीय लोकोत्सव का शुभारंभ 2 मार्च को दोपहर एक बजे से होगा। दूसरे दिन 3 मार्च को किसान सम्मेलन, 4 मार्च को जनजातीय गौरव सम्मेलन और 5 मार्च को लाड़ली बहना योजना का शुभारंभ होगा।

लोकोत्सव में प्रतिदिन शाम को बुन्देलखण्डी लोक-कला पर केन्द्रित सांस्कृति कार्यक्रम होंगे। कार्यक्रम स्थल पर शासन की योजनाओं से संबंधित विकास प्रदर्शनी लगाई जाएगी। साथ ही जन-कल्याणकारी योजनाओं के लिए हितग्राहियों का चयन भी किया जाएगा।

एम.पी. ट्रांस्कों ने बैतूल में ऊर्जीकृत किया 63 एम.व्ही.ए. क्षमता का पावर ट्रांसफार्मर

 बैतूल जिले की पारेषण क्षमता बढ़कर हुई 1462 एम.व्ही.ए.

एम.पी. ट्रांस्कों ने 132 के.व्ही. सबस्टेशन बैतूल में नया 63 एम.व्ही.ए. क्षमता का पावर ट्रांसफार्मर स्थापित कर बैतूल जिले की पारेषण क्षमता को मजबूती और फ्लेक्सिबिलिटी प्रदान की है। एम.पी. ट्रांस्कों (मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी) के 132 के.व्ही. सबस्टेशन बैतूल में इस ट्रांसफार्मर की स्थापना से सबस्टेशन की क्षमता बढ़कर 103 एम.व्ही.ए. की हो गई है।

एम.पी. ट्रांस्कों बैतूल के कार्यपालन अभियंता श्री विजय कुमार देवानी ने बताया कि क्षेत्र में कृषि, घरेलू के साथ औद्योगिक इकाइयों के लिये बिजली की बढ़ती मांग को देखते हुये एम.पी. ट्रांस्कों ने पारेषण सिस्टम की ट्रांसफार्मेशन क्षमता में वृद्धि करने के लिये यह ट्रांसफार्मर स्थापित किया है। इस ट्रांसफार्मर के ऊर्जीकृत होने से क्षेत्र के उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण सतत् विद्युत आपूर्ति हो सकेगी।

बैतूल में 33 के.व्ही. के 7 फीडरों से होती है विद्युत सप्लाई

132 के.व्ही. सबस्टेशन बैतूल से 33 के.व्ही. के 7 फीडरों से विद्युत आपूर्ति होती है। इसमें 3 शहरी, एक औद्योगिक और 3 ग्रामीण क्षेत्र के फीडर हैं। इस सबस्टेशन में बैतूल शहर, पाढर, हिवरखेड, भादुस, टिकारी, सुहागपुर, हमलापुर तथा औद्योगिक क्षेत्र में विद्युत सप्लाई होती है।

एम.पी. ट्रांस्को के 09 सबस्टेशनों से होता है विद्युत पारेषण

बैतूल जिले में एम.पी. ट्रांस्कों अपने 220 के.व्ही. के दो तथा 132 के.व्ही. के 7 सबस्टेशनों के माध्यम से विद्युत पारेषण करती है। बैतूल, गुदगांव तथा सारणी में 220 के.व्ही. के सबस्टेशन हैं, जबकि बैतूल, आमला, त्रिचोली, गुदगांव, मुलताई एवं विसनूर में 132 के.व्ही. के सबस्टेशन हैं।

1462 एम.व्ही.ए. हो गई है बैतूल जिले की कुल ट्रांसफार्मेशन क्षमता

बैतूल जिले की कुल स्थापित ट्रांसफार्मेशन क्षमता बढ़कर 1462 एम.व्ह.ए. हो गई है। इसमें 220 के.व्ही. की 740 तथा 132 के.व्ही. की 722 एम.व्ही.ए. स्थापित क्षमता शामिल है।

पश्चिम क्षेत्र बिजली वितरण कंपनी का 18 हजार 551 करोड़ रूपये का बजट पारित

 

मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र बिजली वितरण कंपनी का वर्ष 2023-24 का बजट मंगलवार को संचालक मंडल की बैठक में प्रस्तुत किया गया। आगामी वित्तीय वर्ष के कुल 18 हजार 551 करोड़ रूपये के बजट की मंजूरी दी गई है।

संचालक मंडल की बैठक में ऊर्जा सचिव श्री रघुराज एम.आर और उप सचिव ऊर्जा विभाग श्री वीके गौड़ भोपाल से वर्चुअली जुड़े। बैठक मप्रपक्षेविविकं के प्रबंध निदेशक श्री अमित तोमर, संचालक आईआईटी इंदौर से डॉ. अरूणा तिवारी, आईआईएम इंदौर के डॉ. प्रशांत सालवन, एसजीएस आईटीएस के डॉ. राकेश सक्सेना आदि की मौजूदगी में हुई। पुराने कमर्शियल वाहनों की बजाए नए प्रावधानों के अनुसार नए वाहनों के लिए और उपभोक्ता सेवाओं को बढ़ाने के लिए भी बजट में प्रावधान किया गया है।

मध्यप्रदेश आर्थिक सर्वेक्षण 2022-2023, सार संक्षेपिका

 

मध्यप्रदेश आर्थिक सर्वेक्षण 2022-2023, सार संक्षेपिका....(क्लिक करें)

पूर्व विधायक श्री पिरोनिया ने बाँस एवं बाँस शिल्प विकास बोर्ड अध्यक्ष का किया कार्यभार ग्रहण

 

गृह मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा की मौजूदगी में मंगलवार को पूर्व विधायक श्री धनश्याम पिरोनिया ने म.प्र. बाँस एवं बाँस शिल्प विकास बोर्ड के अध्यक्ष पद का कार्यभार ग्रहण किया। गृह मंत्री डॉ. मिश्रा ने श्री पिरोनिया को बधाई और शुभकामनाएँ दी।

राज्य बाँस मिशन के सी.ई.ओ. डॉ. यू.के. सुबुद्धि ने मिशन में संचालित गतिविधियों से अध्यक्ष को अवगत कराया। इस मौके पर धानुक, वंशकार समाज के सदस्य एवं बाँस शिल्पी भी मौजूद थे। श्री पिरोनिया ने कहा कि प्रदेश के बाँस शिल्पियों की समस्याओं के निदान के लिए वे हरसंभव प्रयास करेंगे।

मंत्रालय स्थित पटेल पार्क में 1 मार्च को होगा राष्ट्र-गीत एवं राष्ट्र-गान

 

  मंत्रालय स्थित वल्लभ भाई पटेल पार्क में माह के प्रथम कार्य दिवस 1 मार्च को पूर्वान्ह 11 बजे राष्ट्र-गीत "वन्दे-मातरम" एवं राष्ट्र-गान "जन गण मन" का गायन होगा। गायन में वल्लभ भवन, सतपुड़ा एवं विंध्याचल भवन में पदस्थ अधिकारी-कर्मचारी शामिल होंगे।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बरगद, शहतूत और टिकोमा के पौधे रोपे

 पत्रकार और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने भी किया पौध-रोपण

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने श्यामला हिल्स स्थित उद्यान में बरगद, शहतूत और टिकोमा के पौधे लगाए। सामाजिक कार्यकर्ता श्री राहुल कुशवाहा, श्री प्रमोद ठाकरे और टी.वी. चैनल भारत न्यूज के ब्यूरो चीफ श्री अजय भटनागर ने अपने जन्म-दिवस पर पौध-रोपण किया। श्रीमती गार्गी भटनागर, कुमारी ऐश्वर्या भटनागर, श्रीमती सुंदर बाई कुशवाह, सर्वश्री रवि कुशवाह, राहुल राहंगडाले तथा उमेश सोनी भी पौध-रोपण में शामिल हुए।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने डॉ. राजेन्द्र प्रसाद की पुण्य-तिथि पर नमन किया

 

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने भारत के प्रथम राष्ट्रपति एवं महान स्वतंत्रता सेनानी डॉ. राजेंद्र प्रसाद की पुण्य-तिथि पर नमन किया। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निवास कार्यालय स्थित सभागार में उनके चित्र पर माल्यार्पण कर पुष्पांजलि अर्पित की।

डॉ. राजेन्द्र प्रसाद भारतीय स्वाधीनता आंदोलन के प्रमुख नेताओं में से थे। उन्होंने भारतीय संविधान के निर्माण में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया। प्राय: उनका उल्लेख ‘राजेन्द्र बाबू’ के संबोधन के साथ सम्मानपूर्वक किया जाता है। डॉ. राजेन्द्र प्रसाद का जन्म 3 दिसम्बर 1884 को बिहार के तत्कालीन सारण जिले (अब सीवान) के जीरादेई गाँव में हुआ था। उन्होंने विधि क्षेत्र में डॉक्ट्रेट की उपाधि प्राप्त की। वे 26 जनवरी 1950 को देश के प्रथम राष्ट्रपति बने। वर्ष 1957 में वे दोबारा राष्ट्रपति बने और वर्ष 1962 तक इस सर्वोच्च पद पर रहे। इसके बाद उन्होंने पटना बिहार विद्यापीठ में रह कर जन-सेवा कर जीवन व्यतीत किया। उनका निधन 28 फरवरी 1963 को पटना में हुआ।

मुख्यमंत्री और स्पीकर से मिले पहली बार राजधानी आये जनजातीय वर्ग के बच्चे

 

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान और विधानसभा अध्यक्ष श्री गिरीश गौतम से आज जनजातीय वर्ग के कई बच्चों ने मुलाकात की। पहली बार राजधानी पहुँचने वाले बच्चों ने विधायकों और मंत्रियों से भी भेंट की।

इन बच्चों ने विधानसभा परिसर भी देखा। जनजातीय कल्याण केंद्र महाकौशल बरगांव जिला डिंडौरी के 70 विद्यार्थी जनजातीय कार्य मंत्री सुश्री मीना सिंह की पहल पर भोपाल आए। बच्चों ने मुख्यमंत्री श्री चौहान और विधानसभा अध्यक्ष श्री गौतम से भेंट की। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बच्चों से उनके शिक्षा के साथ ही अन्य विषयों पर भी बातचीत की। मुख्यमंत्री श्री चौहान के साथ बच्चों ने समूह छायाचित्र भी खिंचवाया।

मध्यप्रदेश को मिला एमएसईएफसी एक्सीलेंस अवार्ड- मुख्यमंत्री श्री चौहान

 मुख्यमंत्री ने श्री संत हिरदाराम नगर के श्री आसुदो लछवानी के कार्य को सराहा

कान्हा राष्ट्रीय उद्यान की सीता जमरा के नवाचार से युवा हो रहे हैं लाभान्वित

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश लगातार उपलब्धियाँ अर्जित कर रहा है। यह गौरव और आनंद की अनुभूति प्रदान करने वाली बात है। प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना में शीर्ष स्थान प्राप्त करने के बाद अब प्रदेश को एक अन्य उपलब्धि हासिल हुई है। मध्यप्रदेश के एमएसएमई विभाग को केन्द्र सरकार से एमएसएमई के विलंबित भुगतानों के निराकरण के लिये एमएसईएफसी एक्सीलेंस अवार्ड-2022 प्रदान किया गया है। यह अवार्ड सूक्ष्म और लघु उद्यम फेसिलिटेशन कॉउन्सिल को स्ट्रांग रिकवरी प्रोसिजर एवं प्रकरणों के त्वरित निराकरण के लिए दिया गया है। एमएसएमई इकाइयों को 30 करोड़ रूपये से अधिक का विलंबित भुगतान करवाने के एवज में मध्यप्रदेश को यह पुरस्कार मिला है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने श्यामला हिल्स स्थित उद्यान में पौध-रोपण के बाद मीडिया प्रतिनिधियों से यह बात कही।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि बीएचईएल से रिटायर 73 वर्षीय श्री आसुदो लछवानी जरूरतमंद बच्चों और युवाओं को उनकी शिक्षा पूर्ण करने तथा कॅरियर निर्माण में सहायता उपलब्ध कराने और मार्गदर्शन देने का सराहनीय कार्य कर रहे हैं। भोपाल के संत हिरदाराम नगर के निवासी श्री लछवानी की जीवन-शैली सादगी से भरी है। उन्होंने अनेक युवाओं को कॅरियर निर्माण के लिए मार्गदर्शन दिया है। उनके मार्गदर्शन से अनेक डॉक्टर, इंजीनियर, चार्टर्ड अकाउंटेंट और कंपनी सेक्रेटरी के रूप में आज प्रतिष्ठित संस्थाओं में सेवाएँ दे रहे हैं। श्री लछवानी ने गत 40 वर्ष से अभावग्रस्त बच्चों के शिक्षण के लिए शिक्षण शुल्क और शिक्षण सामग्री जुटाने का कार्य भी किया है। उनके द्वारा किये गये इस नेक कार्य से 7 वर्षों में अब तक 15 युवा सीए, सीएस, डॉक्टर और इंजीनियर बन चुके हैं। वे वर्तमान में 65 बच्चों को आर्थिक सहायता भी प्रदान कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि कान्हा राष्ट्रीय उद्यान के समानपुर बफर जोन में पदस्थ वन परिक्षेत्र अधिकारी सीता जमरा ने जनजातीय गाँव में युवाओं के लिए नि:शुल्क लायब्रेरी खोली है। तीन महीने पहले शुरू हुई लायब्रेरी से युवाओं को प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी के लिए किताबें उपलब्ध कराई जा रही हैं। यह लायब्रेरी सर्व सुविधायुक्त कमरों में नहीं बल्कि वन नाकों और अनुपयोगी कमरों में संचालित हो रही है। आस-पास के गाँवों से युवा इस लायब्रेरी में आकर किताबें पढ़ते हैं। यहाँ पर हर तरह की प्रतियोगी परीक्षा संबंधी किताबें, समाचार-पत्र, शासकीय, अर्द्धशासकीय विभागों की रिक्तियों संबंधी जानकारी तथा रोजगार निर्माण समाचार-पत्र भी उपलब्ध है। श्री सीता जमरा, वन और वन्य-प्राणियों की सुरक्षा के साथ युवाओं को भी शिक्षित करने का सराहनीय कार्य कर रही है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने वन परिक्षेत्र अधिकारी सीता जमरा के नवाचार की सराहना की।

निरंतर मजबूत हुई मध्यप्रदेश की आर्थिक स्थिति : मुख्यमंत्री श्री चौहान

 आर्थिक सर्वेक्षण 2022-23 के आँकड़े बताते हैं बेहतर वित्तीय प्रबंधन की सफलता

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मध्यप्रदेश वित्तीय अनुशासन, सर्व समावेशी विकास और कर- संग्रहण में बेहतर प्रदर्शन कर रहा है। प्रदेश का वित्तीय प्रबंधन अच्छा है। प्रति व्यक्ति आय में भी वृद्धि हुई है। मुख्यमंत्री श्री चौहान आज मध्यप्रदेश के आर्थिक सर्वेक्षण 2022-23 पर टी.वी. चैनल्स के प्रतिनिधियों से चर्चा कर रहे थे।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि आर्थिक और वित्तीय दृष्टि से मध्यप्रदेश में हर क्षेत्र में प्रगति है। राजस्व संग्रहण भी बढ़ा है। पूँजीगत व्यय में भी वृद्धि हुई है। प्रदेश की औद्योगिक विकास दर भी बढ़ी है। प्रदेश की आर्थिक वृद्धि दर अग्रिम अनुमान के अनुसार वर्ष 2022-23 में 16.43 प्रतिशत है। इसके पहले 2021-22 में कोविड की परिस्थतियों के बावजूद यह वृद्धि दर 18.02 प्रतिशत थी। वर्ष 2001-02 में यह मात्र 4.43 प्रतिशत थी। राज्य का सकल घरेलू उत्पाद 13 लाख 22 हजार 821 करोड़ रूपए होने का अनुमान है। यह वर्ष 2001-02 में 71 हजार 594 करोड़ रूपए था। इस प्रकार सकल घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) में तब और अब में 18 गुना से अधिक की वृद्धि हुई है।

प्रति व्यक्ति आय में उल्लेखनीय वृद्धि

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि वर्ष 2022-23 में मध्यप्रदेश में प्रति व्यक्ति आय एक लाख 40 हजार 583 रूपए होने का तथ्य सामने आया है। वर्ष 2011-12 में प्रदेश में प्रति व्यक्ति आय बढ़ कर 38 हजार 497 रूपये हुई थी। इसके पहले वर्ष 2001-02 में मध्यप्रदेश में प्रति व्यक्ति आय सिर्फ 11 हजार 718 रूपए थी। ऋण और जीएसडीपी अनुपात की चर्चा करें, तो इस क्षेत्र में भी मध्यप्रदेश का प्रदर्शन अच्छा है। ताजा आर्थिक सर्वेक्षण बताता है कि वर्ष 2005 में जो ऋण जीएसडीपी अनुपात 39.5 प्रतिशत था वह वर्ष 2020-21 में 22.6 प्रतिशत रहा। राज्य का पूँजीगत व्यय 37 हजार 89 से बढ़ कर अब 45 हजार 685 करोड़ रूपये हो गया है। यह वृद्धि 23.18 प्रतिशत है और राज्य के इतिहास में सर्वाधिक पूँजीगत व्यय है। कोविड की परिस्थितियों में भी राज्य के राजस्व को बढ़ाने का प्रयास करते हुए आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश के निर्माण के विजन के साथ कार्य किया गया। गत तीन वर्ष में यह प्रतिवर्ष 7.94 प्रतिशत के कम्पाउंडेड एनुअल ग्रोथ रेट (CAGR) से बढ़ा है। राजकोषीय समेकन के क्षेत्र में मध्यप्रदेश में निरंतर राजस्व बढ़ाने का कार्य हुआ है। प्रायोरिटी सेक्टर लैंडिंग के विस्तार का कार्य भी हुआ है।

कृषि विकास दर में वृद्धि और किसानों के लिए सुविधाएँ

किसानों को ऋण में 13.41 प्रतिशत और एमएसएमई क्षेत्र में 30.22 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई है। वर्ष 2001-02 में कृषि विकास दर सिर्फ तीन प्रतिशत थी, जो अब 19 प्रतिशत हो गई है। राज्य ने वर्ष 2013-14 में 174.8 लाख टन की तुलना में वर्ष 2022-23 के अग्रिम अनुमान में 352.7 लाख टन गेहूँ उत्पादन की सफलता और गेहूँ के निर्यात में मध्यप्रदेश की 46 प्रतिशत भागीदारी की उपलब्धि भी अर्जित की है। धान की पैदावार 53.2 लाख से बढ़ कर 131.8 लाख टन हो गई है।

उद्योग और सिंचाई क्षेत्र में भी बेहतर प्रदर्शन, लघु व्यवसायियों के कल्याण में सबसे आगे प्रदेश

औद्योगिक विकास दर, जो वर्ष 2001-02 में महज 0.61 प्रतिशत थी, अब बढ़ कर 24 प्रतिशत है। स्ट्रीट वेण्डर्स के कल्याण का कार्य भी प्रदेश में बखूबी किया गया है। मध्यप्रदेश सवा 5 लाख शहरी इलाकों के लघु व्यवसायियों (स्ट्रीट वेण्डर्स) को 521 करोड़ से ज्यादा राशि का ऋण देकर देश में सबसे आगे है। सिंचाई क्षमता 585 प्रतिशत बढ़ी है। वर्ष 2003 में सिंचाई क्षमता 7 लाख 50 हजार हेक्टेयर थी, जो अब 45 लाख हेक्टेयर से अधिक है।

मंत्री ने कर्नाटक के शिवमोग्गा में 3,600 करोड़ रुपये से अधिक लागत की कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया उन्‍होंने शिवमोग्गा हवाई अड्डे का भी उद्घाटन किया दो रेल परियोजनाओं और कई सड़क विकास परियोजनाओं की भी आधारशिला रखी बहु-ग्राम योजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया 44 स्मार्ट सिटी परियोजनाओं का उद्घाटन किया "यह केवल एक हवाई अड्डा ही नहीं है बल्कि एक ऐसा अभियान भी है जहां युवा पीढ़ी के सपने उड़ान भर सकते हैं" "कर्नाटक की प्रगति का मार्ग रेलवे, रोडवेज, वायुमार्ग और आईवे की प्रगति से प्रशस्त है" "शिवमोग्गा में हवाई अड्डे का उद्घाटन ऐसे समय में किया जा रहा है जब भारत में हवाई यात्रा के प्रति उत्साह अपने चरम पर है" "आज एयर इंडिया को नए भारत की क्षमता के रूप में पहचाना जाता है जहां यह सफलता की नई ऊंचाइयों को छू रहा है" "अच्छी कनेक्टिविटी वाला बुनियादी ढांचा पूरे क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर पैदा करने वाला है" “डबल इंजन की यह सरकार गांवों की है, गरीबों की है, हमारी मां-बहनों की है”

 प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी ने आज कर्नाटक के शिवमोग्गा में 3,600 करोड़ रुपये से अधिक लागत की कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया। उन्होंने शिवमोग्गा हवाई अड्डे का भी उद्घाटन किया और उसमें उपलब्‍ध सुविधाओं का भी जायजा लिया। प्रधानमंत्री ने शिवमोग्गा में दो रेल परियोजनाओं की आधारशिला भी रखी जिसमें शिवमोग्गा- शिकारीपुरा- रानीबेन्नूर नई रेलवे लाइन और कोटेगांगुरु रेलवे कोचिंग डिपो शामिल हैं। उन्होंने 215 करोड़ रुपये से अधिक की संचयी लागत से विकसित की जाने वाली कई सड़क विकास परियोजनाओं की आधारशिला भी रखी। प्रधानमंत्री ने जल जीवन मिशन के तहत 950 करोड़ रुपये से अधिक लागत की बहु-ग्राम योजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी किया। शिवमोग्गा शहर में 895 करोड़ रुपये से अधिक लागत की 44 स्मार्ट सिटी परियोजनाओं का भी उन्‍होंने उद्घाटन किया।

उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने राष्ट्रकवि कुवेम्पु की भूमि को नमन किया जिनकी एक भारत श्रेष्ठ भारत के प्रति समर्पण की भावना आज भी जीवित है। शिवमोग्गा में नवनिर्मित हवाईअड्डे का उल्लेख करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि आज लंबे समय के बाद नागरिकों की जरूरतें पूरी हुई हैं। इस शानदार हवाई अड्डे की सुंदरता और निर्माण पर टिप्पणी करते हुए प्रधानमंत्री ने कर्नाटक की परंपराओं और प्रौद्योगिकी के समामेलन पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि यह केवल एक हवाई अड्डा ही नहीं है बल्कि एक ऐसा अभियान है जहां युवा पीढ़ी के सपने उड़ान भर सकते हैं। उन्होंने हर घर नल से जल’ ’परियोजनाओं के साथ-साथ सड़क और रेल परियोजनाओं का भी जिक्र कियाजिनकी नींव आज रखी जा रही है। उन्‍होंने इन जिलों के नागरिकों को बधाई दी।

प्रधानमंत्री ने आज श्री बी एस येदियुरप्पा को उनके जन्मदिन पर बधाई देते हुए सार्वजनिक जीवन में उनके योगदान का स्‍मरण किया। उन्होंने कहा कि विधानसभा में उनका दिया अभी हाल का भाषण सार्वजनिक जीवन में सभी के लिए प्रेरणा है। श्री बीएस येदियुरप्पा को मोबाइल की फ्लैशलाइट जलाकर सम्मानित करने के प्रधानमंत्री के अनुरोध को भीड़ के बीच भारी प्रतिक्रिया मिली और लोगों ने अपने वरिष्ठ नेता के लिए अपने प्‍यार को अभिव्‍यक्‍त किया।

प्रधानमंत्री ने कहा कि कर्नाटक का विकास प्रगति पर है। प्रधानमंत्री ने कहाप्रगति का यह मार्ग रोडवेजएयरवेज और आईवे (डिजिटल कनेक्टिविटी) की प्रगति से प्रशस्त है। उन्‍होंने कहा कि कर्नाटक की डबल इंजन सरकार कर्नाटक की प्रगति के रथ को शक्ति प्रदान कर रही है। प्रधानमंत्री ने पहले समय के बड़े शहर-केंद्रित विकास के विपरीत डबल इंजन सरकार के तहत कर्नाटक में गांवों और टियर 2-3 शहरों में विकास के व्यापक प्रसार पर प्रकाश डालते हुए कहा, "शिवमोग्गा का विकास इसी सोच की प्रक्रिया का परिणाम है"।

प्रधानमंत्री ने इस बात को दोहराया शिवमोग्गा में हवाईअड्डे का उद्घाटन ऐसे समय में किया जा रहा है जब भारत में हवाई यात्रा के प्रति उत्साह अपने चरम पर है। उन्होंने बताया कि अभी हाल में एयर इंडिया ने दुनिया के सबसे बड़ा यात्री विमान खरीदने का सौदा पूरा किया है। उन्होंने कहा कि 2014 से पहले कांग्रेस के शासन के दौरानएयर इंडिया की आम तौर पर नकारात्मक रूप में चर्चा की जाती थी और इसकी पहचान हमेशा घोटालों से जुड़ी होती थीजहां इसे घाटे का बिजनेस मॉडल माना जाता था। आज के एयर इंडिया के बारे में प्रकाश डालते हुएप्रधानमंत्री ने कहा कि अब इसे नए भारत की क्षमता के रूप में पहचाना जाता है जहां यह नित सफलता की ऊंचाइयों पर पहुंच रहा है। उन्होंने भारत के बढ़ते विमानन बाजार का उल्लेख किया और यह बताया कि देश को निकट भविष्य में हजारों विमानों की आवश्यकता होगी जहां हजारों युवा नागरिकों की एक कार्यबल के रूप में आवश्यकता होगी। प्रधानमंत्री ने इस बात पर जोर दिया कि भले ही आज हम इन विमानों का आयात कर रहे हैंलेकिन वह दिन दूर नहीं जब भारत के नागरिक मेड इन इंडिया यात्री हवाई जहाज उड़ाएंगे।

प्रधानमंत्री ने सरकार की उन नीतियों के बारे में भी विस्तार से बताया जिनके कारण विमानन क्षेत्र का अभूतपूर्व विस्तार हुआ है। उन्होंने कहा कि पिछली सरकारों के दृष्टिकोण के विपरीतवर्तमान सरकार ने छोटे शहरों में हवाई अड्डों के निर्माण पर जोर दिया है। उन्होंने बताया कि आजादी के पहले 7 दशकों में 2014 तक देश में 74 हवाईअड्डे थे जबकि पिछले 9 सालों में 74 और हवाईअड्डे शामिल किए गए हैंजो कई छोटे शहरों को जोड़ते हैं। हवाई चप्पल पहनने वाले आम नागरिकों को हवाई जहाज’ में यात्रा करने में सक्षम बनाने के अपने सपने को साकार करने के लिए प्रधानमंत्री ने सस्ती हवाई यात्रा के लिए उड़ान’ योजना का भी उल्लेख किया।

प्रधानमंत्री ने कहा कि नया हवाई अड्डा प्रकृतिसंस्कृति और कृषि की भूमि शिवमोग्गा के लिए विकास के नए द्वार खोलने जा रहा है। उन्होंने यह भी बताया कि शिवमोग्गा मलेनाडु क्षेत्र का प्रवेश द्वार है जो पश्चिमी घाटों और हरियालीवन्यजीव अभयारण्योंनदियोंप्रसिद्ध जोग फॉल्स और हाथी शिविरसिम्हा धाम में लायन सफारी और अगुम्बे की पर्वत श्रृंखलाओं के घर के लिए प्रसिद्ध है। प्रधानमंत्री ने उस कहावत का स्‍मरण करते हुए कहा कि जिन्होंने गंगा में डुबकी नहीं लगाई और तुंगभद्रा नदी का पानी नहीं पियाउनका जीवन अधूरा रहता है।

शिवमोग्गा की सांस्कृतिक समृद्धि और विशिष्‍टता के बारे में बात करते हुए प्रधानमंत्री ने राष्ट्रकवि कुवेम्पु और दुनिया के एकमात्र जीवित संस्कृत गांव मत्तूर और शिवमोग्गा में आस्था के कई केंद्रों का उल्लेख किया। उन्होंने इस्सुरु गांव के स्वतंत्रता संग्राम में योगदान का भी जिक्र किया।

शिवमोग्गा की कृषि विशिष्टता का उल्लेख करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि यह देश के सबसे उपजाऊ क्षेत्रों में से एक है। उन्होंने इस क्षेत्र की फसलों की उल्लेखनीय विविधता का जिक्र किया। डबल इंजन सरकार द्वारा किए जा रहे मजबूत संपर्क उपायों से इस क्षेत्र की कृषि संपदा को बढ़ावा मिल रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा कि नए हवाईअड्डे से पर्यटन को बढ़ाने में सहायता मिलेगी और इसके परिणामस्वरूप आर्थिक गतिविधियां व रोजगार के अवसरों में वृद्धि होगी। उन्होंने कहा कि रेल संपर्क किसानों के लिए नए बाजार सुनिश्चित करेगा।

प्रधानमंत्री ने इस बात पर जोर दिया कि शिवमोग्गा-शिकारीपुरा-रानीबेन्नूर नई लाइन के पूरा होने पर हावेरी और दावणगेरे जिले भी काफी लाभान्वित होंगे। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि इस लाइन में कोई लेवल क्रॉसिंग नहीं होगाजिससे यह एक सुरक्षित रेल लाइन बन जाएगी और फास्ट ट्रेनें सुचारु रूप से चल सकेंगी। उन्होंने इस बात पर भी प्रकाश डाला कि कोटागंगौर स्टेशन की क्षमताजो कभी एक छोटा हॉल्ट स्टेशन हुआ करता थाउसे नए कोचिंग टर्मिनल के निर्माण के बाद बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने बताया कि अब इसे 4 रेलवे लाइन, 3 प्लेटफार्म और एक रेलवे कोचिंग डिपो के साथ विकसित किया जा रहा है। यह देखते हुए कि शिवमोग्गा इस क्षेत्र का एक शैक्षिक केंद्र हैप्रधानमंत्री ने कहा कि इस बढ़ी हुई कनेक्टिविटी से आस-पास के क्षेत्रों के छात्रों के लिए भी शिवमोग्गा जाना अधिक आसान हो जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि क्षेत्र में व्यवसायों और उद्योगों के लिए नए अवसर खुलेंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि अच्छी कनेक्टिविटी वाला बुनियादी ढांचा पूरे क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर पैदा करने जा रहा है।

प्रधानमंत्री ने इस क्षेत्र में जल जीवन मिशन को शिवमोग्गा की महिलाओं के जीवन को आसान बनाने के लिए एक बड़ा अभियान बताया। उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन शुरू होने से पहले शिवमोग्गा में 3 लाख परिवारों में से केवल 90 हजार के पास नल के पानी के कनेक्शन थे। अब डबल इंजन सरकार ने 1.5 लाख परिवारों को नल से जल के कनेक्शन प्रदान किए हैं और सभी घरों को यह सुविधा सुनिश्चित करने के लिए काम चल रहा है। पिछले 3.5 साल में 40 लाख परिवारों को नल के पानी के कनेक्शन मिले हैं।

प्रधानमंत्री ने कहा, "डबल इंजन की सरकार गांवों कीगरीबों की और हमारी माताओं और बहनों की है।" प्रधानमंत्री ने शौचालयगैस कनेक्शन और नल से जलापूर्ति का उदाहरण देते हुए कहा कि सरकार माताओं और बहनों से जुड़ी सभी समस्याओं को दूर करने का प्रयास कर रही है। उन्होंने दोहराया कि डबल इंजन की सरकार पूरी ईमानदारी के साथ हर घर में पाइप से पानी उपलब्ध कराने का प्रयास कर रही है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि टिप्पणी कि कर्नाटक के लोग अच्छी तरह जानते हैं कि यह भारत का अमृत काल हैविकसित भारत बनाने का समय है। उन्होंने कहा कि भारत की आजादी के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है कि ऐसा अवसर दस्तक दे रहा है कि वैश्विक मंच पर भारत की आवाज सुनी जा रही है। उन्होंने कहा कि दुनिया भर के निवेशक भारत में निवेश करना चाहते हैं और इससे कर्नाटक और यहां के युवाओं को भी लाभ होगा। अपने संबोधन का समापन करते हुए प्रधानमंत्री ने सभी को आश्वासन दिया कि कर्नाटक के विकास के लिए यह अभियान और गति पकड़ेगा। "हमें एक साथ चलना होगाहमें एक साथ आगे बढ़ना है"।

इस अवसर पर कर्नाटक के मुख्यमंत्री श्री बसवराज बोम्मईकर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री श्री बीएस येदियुरप्पाकेंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री श्री प्रल्हाद जोशीकर्नाटक सरकार के मंत्री और अन्य गणमान्‍य व्‍यक्ति भी उपस्थित थे।

पृष्ठभूमि

पूरे देश में हवाई संपर्क में सुधार करने के बारे में प्रधानमंत्री के जोर देने के प्रयास को शिवमोग्गा हवाई अड्डे के उद्घाटन से और अधिक बढ़ावा मिलेगा। नया हवाई अड्डा लगभग 450 करोड़ रुपये की लागत से विकसित किया गया है। हवाई अड्डे का यात्री टर्मिनल भवन प्रति घंटे 300 यात्रियों को संभाल सकता है। इससे मलनाड क्षेत्र में शिवमोग्गा और अन्य पड़ोसी क्षेत्रों की कनेक्टिविटी और पहुंच में काफी सुधार होगा।

प्रधानमंत्री ने शिवमोग्गा में दो रेल परियोजनाओं की आधारशिला रखी। इसमें शिवमोग्गा - शिकारीपुरा- रानीबेन्नूर नई रेलवे लाइन और कोटेगंगुरु रेलवे कोचिंग डिपो शामिल हैं। शिवमोग्गा- शिकारीपुरा- रानीबेन्नूर नई रेलवे लाइन 990 करोड़ रुपये की लागत से विकसित की जाएगी और बेंगलुरु-मुंबई मुख्‍य लाइन के साथ मलनाड क्षेत्र को बेहतर कनेक्टिविटी प्रदान करेगी। शिवमोग्गा शहर में कोटेगांगुरू रेलवे कोचिंग डिपो को 100 करोड़ रुपये से अधिक लागत से विकसित किया जाएगा ताकि शिवमोग्गा से नई ट्रेनें शुरू करने में मदद मिल सके और बेंगलुरू व मैसूरु में रख-रखाव सुविधाओं की बढ़ती मांग को कम किया जा सके।

प्रधानमंत्री ने कई सड़क विकास परियोजनाओं की आधारशिला रखी। 215 करोड़ रुपये से अधिक की संचयी लागत से विकसित की जाने वाली परियोजनाओं में ब्यंदूर-रानीबेन्नूर को जोड़ने वाले एनएच 766सी पर शिकारीपुरा टाउन के लिए एक नई बाईपास सड़क का निर्माण शामिल हैमेगारावल्ली से अगुम्बे तक एनएच 169ए का चौड़ीकरणऔर एनएच 169 पर तीर्थहाली तालुक में भारतीपुरा में एक नए पुल का निर्माण शामिल हैं।

प्रधानमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान जल जीवन मिशन के तहत 950 करोड़ रुपये से अधिक लागत की बहु-ग्राम योजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी किया। इसमें गौतमपुरा और 127 अन्य गांवों के लिए एक बहु-ग्राम योजना का उद्घाटन और 860 करोड़ रुपये से अधिक की कुल लागत से विकसित की जाने वाली तीन अन्य बहु-ग्राम योजनाओं की आधारशिला रखना भी शामिल है। चार योजनाएं कार्यात्मक घरेलू पाइप जल कनेक्शन प्रदान करेंगी और इससे कुल 4.4 लाख से अधिक लोगों को लाभ मिलने की उम्मीद है।

प्रधानमंत्री ने शिवमोग्गा शहर में 895 करोड़ रुपये से अधिक लागत की 44 स्मार्ट सिटी परियोजनाओं का भी उद्घाटन किया। इन परियोजनाओं में 110 किमी लंबाई के 8 स्मार्ट रोड पैकेजएकीकृत कमांड एंड कंट्रोल सेंटर और बहु-स्तरीय कार पार्किंगस्मार्ट बस शेल्‍टर परियोजनाएंएक उन्‍नत ठोस अपशिष्ट प्रबंधन प्रणालीशिवप्पा नाइक पैलेस जैसी विरासत परियोजनाओं का एक संवादात्मक संग्रहालय में विकास, 90 संरक्षण लेनपार्कों का निर्माण और रिवरफ्रंट विकास परियोजनाएं शामिल हैं।

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खिरकिया से जटाहा बाजार तक 17 किलोमीटर लंबी सड़क के निर्माण से कुशीनगर के विकास को और गति मिलेगी: प्रधानमंत्री

 प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि उत्तर प्रदेश में कुशीनगर लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत खिरकिया से जटाहा बाजार तक 17 किलोमीटर लंबी सड़क के निर्माण से कुशीनगर के विकास को और गति मिलेगी।

कुशीनगर के सांसद श्री विजय कुमार दुबे के एक ट्वीट का जवाब देते हुए प्रधानमंत्री ने ट्वीट किया:

"इससे कुशीनगर के विकास को और बल मिलेगा।"

 

कर्नाटक के शिमोगा में विभिन्न परियोजनाओं के शिलान्यास समारोह और उद्घाटन के अवसर पर प्रधानमंत्री के संबोधन का मूल पाठ

 कर्नाटका दा,

एल्ला सहोदरा सहोदरीयारिगेनन्ना नमस्कारागलु!

सिरिगन्नडम् गेल्गेसिरिगन्नडम् बाळ्गे

जय भारत जननीय तनुजाते!

जया हे कर्नाटक माते!

एक भारत श्रेष्ठ भारत के लिए ऐसे समर्पण भाव को रखने वाले राष्ट्रकवि कुवेंपु की धरती को मैं आदरपूर्वक नमन करता हूं। आज मुझे एक बार फिर कर्नाटक के विकास से जुड़े हज़ारों करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स के लोकार्पण और शिलान्यास का सौभाग्य मिला है।

अभी-अभी शिमोगा में हूं और यहां से मुझे बेलगावी जाना है। आज शिमोगा को अपना एयरपोर्ट मिला है। लंबे समय तक जिसकी डिमांड थीवो आज पूरी हुई है। शिमोगा एय़रपोर्ट बहुत ही भव्य बना हैबहुत ही सुंदर है। इस एयरपोर्ट में भी कर्नाटक के ट्रेडिशनल और टेक्नोलॉजी का अद्भुत संगम नजर आता है। और यह सिर्फ एयरपोर्ट नहीं हैयह इस क्षेत्र के नौजवानों के सपनों को नई उड़ान का अभियान है। आज रोड और रेल से जुड़े अनेक प्रोजेक्ट्स का भी शिलान्यास हुआ है। हर घर नल से जल के प्रोजेक्ट्स पर भी काम शुरु हो रहा है। विकास के ऐसे हर प्रोजेक्ट के लिए मैं शिमोगा के और आस-पास के सभी जिलों कावहां के सभी नागरिकों को बहुत-बहुत बधाई देता हूं।

साथियों,

आज का दिन एक और वजह से बहुत विशेष है। आज कर्नाटक के लोकप्रिय जन नेता बी. एस. येदियुरप्पा जी का जन्मदिन है। मैं उनकी लंबी आयु की कामना करता हूं। उन्होंने अपना जीवन गरीबों के कल्याण के लिएकिसानों के कल्याण के लिए समर्पित किया है। येदियुरप्पा जी ने अभी पिछले हफ्ते कर्नाटक असेंबली में जो भाषण दिया हैवो सार्वजनिक जीवन जीने वाले प्रत्येक व्यक्ति के लिए प्रेरणा है। सफलता की इस ऊंचाई पर पहुंचकर भी किस तरह व्यवहार में विनम्रता बनी रहनी चाहिएये हम जैसे हर किसी कोहमारी आने वाली पीढ़ियों के लिए भी येदियुरप्पा जी का यह भाषणउनका जीवन हमेशा हमेशा प्रेरणा देने वाला है।

साथियों,

मेरी आप सब से एक विनती हैआप करेंगेअगर आपके पास मोबाइल फोन हैतो मोबाइल फोन निकाल करके उसकी फ्लैश लाइट शुरू करिये और येदियुरप्पा जी का सम्‍मान करिये। येदियुरप्पा जी के सम्‍मान में सब लोग हरेक के मोबाइल पर फ्लैश लाइट चलना चाहिए। येदियुरप्पा जी के सम्‍मान में चलना चाहिए। 50-60 साल का सार्वजनिक जीवन अपनी पूरी जवानी एक विचार के लिए खपा दी है। हर कोई अपने मोबाइल फोन का फ्लैश लाइट चालू करके आदरणीय येदियुरप्पा जी का सम्‍मान करें। शाबाशशाबाश। भारत माता की जय। जब मैं भाजपा सरकार के दौरान कर्नाटक की विकास यात्रा को देखता हूंतो पाता हूं: कर्नाटकअभिवृद्धिया रथादामेले ! इ रथावूप्रगतिया पथादा मेले!

बीते कुछ वर्षों में कर्नाटक का विकास अभिवृद्धि के रथ पर चल चुका है। ये अभिवृद्धि रथप्रगति पथ पर दौड़ रहा है। ये प्रगति पथरेलवेरोडवेज़एयरवेज़ और आईवेज यानि डिजिटल कनेक्टिविटी का है।

साथियों,

हम सब जानते हैं कि कोई गाड़ी हो या सरकारजब डबल इंजन लगता है न तो उसकी स्पीड कई गुना बढ़ जाती है। कर्नाटक का अभिवृद्धि रथा ऐसे ही डबल इंजन पर चल रहा हैबल्कि तेज़ी से दौड़ रहा है। भाजपा की डबल इंजन सरकार एक और बड़ा बदलाव लेकर आई है। पहले जब कर्नाटक के विकास की चर्चा होती थीतो ये बड़े शहरों के आस-पास वहीं तक सीमित रहती थी। लेकिन डबल इंजन सरकार इस विकास को कर्नाटक के गांवों तकटीयर-सिटी तकटीयर-सिटी तक पहुंचाने का लगातार प्रयास कर रहे हैं। शिमोगा का विकास इसी सोच का परिणाम है।

भाइयों और बहनों,

शिमोगा का ये एयरपोर्ट ऐसे समय में शुरू हो रहा हैजब भारत में हवाई यात्रा को लेकर बहुत उत्साह है। आपने हाल में ही देखा होगा कि एयर इंडिया ने दुनिया का सबसे बड़ा विमान खरीदने का सौदा किया है। 2014 से पहले जब भी एयर इंडिया की चर्चा होती थीतो अक्सर नकारात्मक खबरों के लिए ही होती थी। कांग्रेस के राज में एयर इंडिया की पहचान घोटालों के लिए होती थीघाटे वाले बिजनेस मॉडल के रूप में होती थी। आज एयर इंडियाभारत के नए सामर्थ्य के रूप में विश्व में आगे नई ऊंचाईनई उड़ान भर रहा है।

आज भारत के एविएशन मार्केट का डंका पूरी दुनिया में बज रहा है। आने वाले समय में हज़ारों विमानों की ज़रूरतभारत में पड़ने वाली है। इन विमानों में काम करने के लिए हज़ारों युवाओं की ज़रूरत होगी। अभी हम भले ही ये विमानविदेशों से मंगा रहे हैंलेकिन वो दिन दूर नहीं जब भारत के नागरिक मेड इन इंडिया पैसेंजर वाले प्लेन में प्रवास करेंगे। एविएशन सेक्टर में रोजगार के लिए अनेक संभावनाएं खुलने वाली हैं।

साथियों,

आज भारत में हवाई यात्रा का जो विस्तार हुआ हैउसके पीछे भाजपा सरकार की नीतियां और निर्णय हैं। 2014 से पहले देश में सिर्फ बड़े शहरों में ही एयरपोर्ट पर फोकस था। छोटे शहर भी हवाई कनेक्टिविटी से जुड़ेंये कांग्रेस की सोच ही नहीं थी। हमने इस स्थिति को बदलने का निर्णय लिया। साल 2014 में देश में 74 एयरपोर्ट्स थे। यानि आजादी के सात दशक बाद भी देश में 74 एयरपोर्ट्स ही थे। जबकि भाजपा सरकार अपने साल में 74 नए एयरपोर्ट्स बनवा चुकी है। देश के अनेक छोटे शहरों के भी पास जब उनके अपने आधुनिक एयरपोर्ट हैं। आप कल्पना कर सकते हैं कि भाजपा सरकार के काम करने की रफ्तार क्या है। गरीबों के लिए काम करने वाली भाजपा सरकार ने एक और बड़ा काम किया। हमने यह तय किया कि हवाई चप्पल पहनने वाला भी हवाई यात्रा कर पाए। इसलिए हमने बहुत ही कम कीमत पर हवाई टिकट देने वाली उड़ान योजना शुरु की। आज जब मैं देखता हूं कि मेरे कितने ही गरीब भाई-बहन पहली बार हवाई जहाज में चढ़ रहे हैंऔर उससे मुझे संतोष होता है। शिमोगा का ये एयरपोर्ट भी अब इसका गवाह बनेगा।

साथियों,

Nature, Culture और Agriculture की धरतीशिमोगा के लिए ये नया एयरपोर्ट विकास के नए द्वार खोलने जा रहा है। शिमोगावेस्टर्न घाट के लिए मशहूर मले-नाडू का गेटवे है। जब नेचर की बात होती है तो यहां की हरियालीयहां के wildlife sanctuaries, नदियां और पहाड़ अद्भुत हैं। आपके पास मशहूर जोग जलपाता भी है। यहां प्रसिद्ध एलीफेंट कैंप हैसिम्हाधाम जैसी लायन सफारी है। आगुम्बे पर्वत के सूर्यास्त का आनंद कौन नहीं लेना चाहेगायहां तो कहावत हैगंगा स्नानातुंगा पाना। जिसने गंगा स्नान नहीं किया और तुंगा नदी का पानी नहीं पियाउसके जीवन में कुछ ना कुछ अधूरा है।

साथियों,

जब हम कल्चर की बात करते हैंतो शिमोगा के मीठे जल ने राष्ट्रकवि कुवेंपु के शब्दों में मिठास घोली है। दुनिया का इकलौता संस्कृत गांव-मत्तूरू इसी जिले में है। और वो तो यहां दूर भी नहीं है। देवी सिंगधूरु चौडेश्वरीश्रीकोटे आंजनेयश्री श्रीधर स्वामी जी का आश्रमआस्था और आध्यात्म से जुड़े ऐसे स्थान भी शिमोगा में हैं। शिमोगा का ईसुरू गांव जहां अंग्रेजों के विरुद्ध-"येसुरु बिट्टरू-ईसुरू बिडेवूका नारा गूंजाये हम सभी के लिए प्रेरणास्थली है।

भाइयों और बहनों,

नेचर और कल्चर के साथ-साथ शिमोगा के एग्रीकल्चर की भी विविधता है। येरीजन देश के सबसे उपजाऊ क्षेत्रों में से एक है। यहां जिस प्रकार फसलों की वैरायटी पाई जाती हैवो इस क्षेत्र को एग्रीकल्चर हब के रूप में स्थापित करता है। चायसुपारीमसालों से लेकर भांति-भांति के फल-सब्जी हमारे शिमोगा विस्‍तार में होते हैं। शिमोगा के nature, culture और agriculture को बढ़ावा देने के लिए एक बहुत बड़ी जरूरत यहां थी। ये ज़रूरत कनेक्टिविटी की हैअच्छी कनेक्टिविटी की है। डबल इंजन सरकार इस ज़रूरत को पूरा कर रही है।

एयरपोर्ट के बनने से स्थानीय लोगों को सुविधा तो मिलेगी हीदेश-विदेश के टूरिस्ट के लिए यहां आना आसान होगा। जब टूरिस्ट आते हैंतो वो अपने साथ डॉलर और पाउंड लेकर आते हैंऔर एक प्रकार से रोजगार के अवसर भी उसमें ही होते हैं। जब रेल कनेक्टिविटी बेहतर होती है तो सुविधा और टूरिज्म के साथ-साथ किसानों को भी नए बाज़ार मिलते हैं। किसान अपनी फसल कम कीमत में देशभर के मार्केट तक पहुंचाते हैं।

साथियों,

जब शिमोगा-शिकारीपुरा–रानीबेन्नूर नई लाइन पूरी होगी तो शिमोगा के अलावा हावेरी और दावण गेरे जिलों को भीउनको भी लाभ होने वाला है। सबसे बड़ी बातइस लाइन में लेवल क्रॉसिंग नहीं होगी। मतलब ये सुरक्षित रेल लाइन होगी और इस पर तेज गति की ट्रेनें चल पाएगी। कोटेगंगौर अब तक एक छोटा पड़ाव स्टेशन था। अब नया कोचिंग टर्मिनल बनने से इसका महत्व बढ़ जाएगाइसकी कैपेसिटी बढ़ जाएगी। अब इसे रेलवे लाइनों, 3 प्लेटफार्म और एक रेलवे कोचिंग डिपो के साथ तैयार किया जा रहा है। इससे यहां से देश के दूसरे हिस्सों के लिए नई ट्रेनें चल पाएंगी। हवाई और रेल ट्रांसपोर्ट के साथ-साथ अब रोड भी अच्छी होती हैतब युवाओं को बहुत लाभ होता है। शिमोगा तो एजुकेशनल हब है। अच्छी कनेक्टिविटी होने सेआस-पास के जिलों से युवा साथियों के लिए यहां आना आसान होगा। इससे नए बिजनेस के लिएनए उद्योगों के लिए भी रास्ते खुलेंगे। यानि अच्छी कनेक्टिविटी से जुड़ा इंफ्रास्ट्रक्चरइस पूरे क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर बनाने जा रहा है।

भाइयों और बहनों,

आज शिमोगा और इस क्षेत्र की माताओं-बहनों के जीवन को आसान बनाने के लिए भी एक बड़ा अभियान चल रहा है। ये अभियान हैहर घर पाइप से जल पहुंचाने का। शिमोगा जिले में लाख से अधिक परिवार हैं। जल जीवन मिशन शुरु होने से पहलेयहां लगभग 90 हज़ार परिवारों के घर में नल कनेक्शन था। डबल इंजन सरकार अभी तक करीब डेढ़ लाख नए परिवारों को पाइप से पानी की सुविधा दे चुकी है। बाकी परिवारों तक नल से जल पहुंचाने के लिए भी अनेक प्रोजेक्ट्स पर काम चल रहा है। बीते साढ़े वर्षों में कर्नाटक में 40 लाख ग्रामीण परिवारों तक पाइप से पानी पहुंचाया गया है।

साथियों,

बीजेपी की सरकार गांवगरीब और किसान की सरकार हैबीजेपी की सरकार गरीबों के कल्‍याण के लिए काम करने वाली सरकार हैबीजेपी की सरकारमाताओं-बहनों का स्‍वाभिमानमाताओं-बहनों के लिए अवसरमाताओं-बहनों के सशक्तिकरण इस रास्‍ते पर चलने वाली सरकार है। इसलिए हमने बहनों से जुड़ी हर परेशानी को दूर करने का प्रयास किया है। टॉयलेट होरसोई घर मेंकिचन में गैस हो या नल से जल होइनका अभाव हमारी बहनों-बेटियों को ही सबसे अधिक परेशान करता था। आज इसको हम दूर कर रहे हैं। जल जीवन मिशन से डबल इंजन सरकार हर घर तक जल पहुंचाने के लिए ईमानदारी से प्रयास कर रही है।

साथियों,

कर्नाटक के लोग भली-भांति जानते हैं कि भारत का ये अमृतकालविकसित भारत बनाने का काल है। आजादी के इतिहास में पहली बार ऐसा अवसर आया है। पहली बार पूरी दुनिया में भारत की इतनी गूंज सुनाई दे रही है। दुनिया भर के निवेशक भारत आना चाहते हैं। और जब निवेश आता है तो उसका बहुत लाभ कर्नाटक को भी होता हैयहां के युवाओं को भी होता है। इसलिए कर्नाटक डबल इंजन सरकार को बार-बार अवसर देने का मन बना चुका है।

मैं आपको आश्वस्त करता हूं कि कर्नाटक के विकास का ये अभियान अब और तेज़ होने वाला है। हमें मिलकर आगे बढ़ना हैमिलकर चलना है। हमें एक साथ चल करके हमारे कर्नाटक के लोगों केहमारे शिमोगा के लोगों के सपनों को पूरा करना है। एक बार फिर आप सभी को विकास के इन प्रोजेक्ट्स के लिए मैं बहुत-बहुत बधाई देता हूं। बहुत-बहुत शुभकामनाएं देता हूं। मेरे साथ बोलें- भारत माता की जय। भारत माता की जय। भारत माता की जय।

धन्यवाद!